आओ चलें

 


आओ चलें,

मन की यात्रा पर,

खो जाएं,

अतरंगी के संसार में।

आओ चलें,

जहाँ विचारों की

गहराई हो,

भावनाओं की

ऊँचाई हो,

स्वतंत्रता की

चमक हो।

***

आओ चलें,

अनुभवों की

उड़ान पर,

छोड़ें सब बाधाओं को पीछे,

हो अपार संवाद का मंच।

खो जाएं

सुरमई बोलों के

संगीत में,

गूंजे अपार उत्साह का गीत।

***

आओ चलें,

सपनों की धरती पर,

हो सच्चे भावों का

अभिव्यक्ति का

समारोह।

बदलें रंग, रूप, आकार,

भाषा के सीमा,

हो जाएं एकत्र

***

आओ चलें,

संगीत से झलकते

स्वरों के साथ,

साझा करें भावनाओं को।

कविता के मंच पर

आओ देखें

रंगमंच की

नाटकीयता।

***

आओ चलें,

खो जाएं

अपने स्वप्नों में,

विचारों की

आज़ादी में,

जीवन के गीतों में।

आओ चलें,

जहाँ आत्मा की

ऊँचाई हो,

संगीत के

सहारे हो,

कविता की

मान्यता हो।

***


आओ चलें पुस्तक के कुछ अंश

पढ़ने के लिए लिंक पर क्लिक करें


टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

आज, अभी नशे का सामान छोड़ दीजिए

पत्रकारों के लिए विशेष रचना

सबके पास कुछ ना कुछ सुझाव होना चाहिए।